<![CDATA[रिहायशी प्रॉपर्टी की किरायेदारी आय पर नहीं लगेगा जीएसटीरिहायशी प्रॉपर्टी की किरायेदारी आय पर नहीं लगेगा जीएसटीजीएसटी के अंतर्गत रिहायशी प्रॉपर्टी पर होने वाली आय पर टैक्स नहीं लगेगा नई दिल्ली (जेएनएन)। रिहायशी प्रॉपर्टी की किरायेदारी आय पर लागू नहीं होगा लेकिन वाणिज्यिक यानी कॉमर्शियल उद्देश्य की प्रॉपर्टी से होने वाली आय पर लगेगा बशर्ते इसकी वार्षिक किरायेदारी आय 20 लाख रुपये से ज्यादा हो। राजस्व सचिव हसमुख अढिया ने कहा है कि अगर कोई मकान दुकान या ऑफिस के उद्देश्य से किराये पर दिया जाता है तो तभी लगेगा अगर कुल आय 20 लाख रुपये से ज्यादा हो। मास्टर क्लास के दौरान अढिया ने कहा कि रिहायशी किरायेदारी आय से पूरी तरह मुक्त रहेगी। लेकिन यह मकान गैर आवासीय उद्देश्य से किराये पर उठाया जाता है तो वाणिज्यिक के तौर पर माना जाएगा और 20 लाख रुपये से ज्यादा आय होने पर टैक्स लगेगा। निर्धारित सीमा से ज्यादा किरायेदारी आय होने पर करदाताओं यानी प्रॉपर्टी मालिकों को नेटवर्क में पंजीकरण कराना होगा और टैक्स भरना होगा। पोर्टल पर 69 लाख कारोबारी पंजीकृत एन के चीफ एक्जीक्यूटिव प्रकाश कुमार ने कहा कि पोर्टल पर अब तक एक्साइज, सर्विस टैक्स और वैट के पंजीकृत करदाताओं की संख्या बढ़कर 69.32 लाख हो गई है। पिछली अप्रत्यक्ष कर व्यवस्था में 80 लाख से ज्यादा करदाता थे। एन पर पंजीकृत कुल करदाताओं में 38.51 लाख करदाताओं की पंजीकरण प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। उन्हें रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट जारी किया जा रहा है। बाकी करदाताओं को एसएमएस और ईमेल भेजे जा रहे हैं ताकि वे पंजीकरण के लिए कारोबार की पूरी जानकारी उपलब्ध करायें। नई व्यवस्था 25 जून से 4.5 लाख नये करदाता जुड़ चुके हैं। व्यापारिक प्रतिष्ठान पर लगाना होगा साइन बोर्ड व्यापारियों और उद्यमियों को अपने परिसर में अपने साइन बोर्ड पर रजिस्ट्रेशन नंबर और इसके सर्टिफिकेट का अनिवार्य रूप से प्रदर्शित करना होगा। कंपोजीशन स्कीम अपनाने वाले कारोबारियों को इसका उल्लेख करके यह भी स्पष्ट करना होगा कि वे ग्राहकों से टैक्स लेने के लिए अधिकृत नहीं हैं।]]>