भोपाल। मार्केट रेगुलेटर सेबी की मंगलवार को खास मीटिंग हुई। इसमें बायबैक नियमों में बदलाव को मंजूरी मिल गई है। इसके अलावा म्यूचुअल फंड्स (MFs) के लिए केवल प्लैटफॉर्म एग्जीक्युशन को मंजूरी मिली है। नए नियम आने से डायरेक्ट खरीद वालों के लिए सुरक्षा बढ़ेगी। इससे निवेशकों के शिकायतों की सुनवाई का मैकेनिज्म बनेगा। मीटिंग में यह भी निर्णय हुआ है, कि ब्रोकर के यहां टेक्निकल ग्लिच की स्थिति में स्टॉक एक्सचेंज के जरिए सौदा काटने की सुविधा दी जाएगी।
क्वालिफाइड स्टॉक ब्रोकर्स का दर्जा
कॉरपोरेट गवर्नेंस को बेहतर करने पर जोर दिया जा रहा है। इसके तहत मीटिंग में बड़े ब्रोकर्स के लिए क्वालिफाइड स्टॉक ब्रोकर्स का दर्जा दिए जाने की बात कही गई है। क्वालिफाइड स्टॉक ब्रोकर का नियम आने से जोखिम कम होगा। क्योंकि सभी तरह के जोखिम को ध्यान में रखकर चुनाव होगा। इससे निवेशकों, ट्रेडर्स के रिस्क कम करने में सहायता मिलेगी।
बायबैक के नियमों में बदलाव
बायबैक को लेकर भी सेबी की बोर्ड मीटिंग में अहम निर्णय लिए गए। इसके तहत स्टॉक एक्सचेज के रास्ते बायबैक धीरे धीरे खत्म करेंगे। साथ ही FPIs के लिए रजिस्ट्रेशन को आसान बनाया गया है। अहम निर्णय के तहत ग्रीन बॉन्ड के नियमों में बदलाव कर दायरा बढ़ाया गया है। साथ ही REITs, InVITs के लिए लिस्टेड कंपनियों की तरह कॉरपोरेट गवर्नेंस नियम भी लाया गया।