भोपाल। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने क्रेडिट कार्ड से जुड़े कई नियमों में महत्वपूर्ण बदलाव करने की घोषणा की है। यह बदलाव 1 जुलाई, 2022 से लागू होंगे। इसके बाद ग्राहकों को और पहले की अपेक्षा अधिक अधिकार मिल पाएगें।
रिजर्व बैंक के अनुसार, नया नियम लागू होने के बाद क्रेडिट कार्ड कंपनियां अथवा बैंक को किसी भी ग्राहक को डेबिट या क्रेडिट कार्ड जारी करने से पहले उससे अनुमति लेना आवश्यक होगा। कार्ड को अपग्रेड करने से पहले भी ग्राहक की अनुमति आवश्यक मानी जाएगी। यदि कंपनियां बिना ग्राहक की अनुमति के ही कार्ड जारी करती हैं या उसे अपग्रेड करती हैं तो उन्हें ग्राहक से शुल्क वसूलने का अधिकार नहीं होगा।
आरबीआई का कहना था कि नया नियम ग्राहकों को ज्यादा सक्षम बनाएगा और उनके पास कई अधिकार भी होंगे। कंपनियां या बैंक कार्ड जारी कर या अपग्रेड करने के बाद अगर ग्राहक से शुल्क वसूलते हैं तो ग्राहक न सिर्फ इस शुल्क को चुकाने से इनकार कर सकते हैं, बल्कि संबंधित कंपनी या बैंक से जुर्माने की भी मांग कर सकते हैं। जुर्माने की राशि ग्राहक से वसूली जाने वाली फीस का दोगुना होगी।
कार्ड बंद करना सरल होगा
आरबीआई ने क्रेडिट कार्ड बंद करवाने वाले ग्राहकों को भी बड़ी सहूलियत दी है। नए नियम के अनुसार, कंपनी या बैंक को ग्राहक की ओर से कार्ड बंद करवाने की रिक्वेस्ट मिलने के 7 कार्यदिवस के भीतर इस पर अमल करना होगा। अगर वे ऐसा करने से चूकते हैं तो प्रतिदिन 500 रुपये की पेनॉल्टी लगाई जाएगी, जो खाता बंद होने तक जारी रहेगी। हालांकि, इसके लिए शर्त यह है कि ग्राहक पर कोई बकाया नहीं होना चाहिए।
कार्ड ओटीपी के माध्यम होगा एक्टिवेट
आरबीआई ने क्रेडिंग कार्ड के बारे में बैंक या कंपनी को कार्ड इश्यू करने और उसे एक्टिवेट करने के लिए ओटीपी की सहायता लेनी पड़ेगी। अगर ग्राहक ने 30 दिनों के भीतर कार्ड को ओटीपी के माध्यम से एक्टिवेट नहीं किया तो क्रेडिट कार्ड का खाता बिना किसी शुल्क या जुर्माने के बंद कर दिया जाएगा। यह काम कार्ड भेजने के 37वें दिन के बाद कभी भी किया जा सकता है।
एक वर्ष तक उपयोग न करने पर बंद किया जा सकेगा
नए नियम के तहत यदि किसी ग्राहक ने एक वर्ष तक कार्ड का उपयोग नहीं किया है तो उसे एक नोटिस देकर बंद कर दिया जाएगा। कार्ड जारी करने वाली कंपनी या बैंक को इसे इश्यू करने के साथ ही ग्राहक को एक पेज पर सभी शुल्क और ब्याज की जानकारी देनी होगी। यदि किसी कंपनी या बैंक ने किसी ग्राहक के आवेदन को रिजेक्ट किया तो उसे लिखित में रिजेक्ट करने का कारण भी बताना होगा। इस तरह से आरबीआई के क्रडिट कार्ड के यह नियम ग्राहक के लिए बहुत लाभदायक हो सकते हैं।