मध्यप्रदेश को औद्योगिक और रोजगार संपन्न राज्य बनाएंगे : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

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मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि हमारे उद्योग और कारखाने मंदिरों की तरह हैं, जो लोगों के कष्टों को दूर करते हैं। मध्यप्रदेश में उद्योगों का निरंतर विस्तार हो रहा है और अब प्रदेश के युवाओं को रोजगार के लिए पलायन की आवश्यकता नहीं रह गई है।

उन्होंने बताया कि रोजगारपरक उद्योगों में युवाओं को प्रोत्साहन देने के लिए उन्हें ₹5,000 की प्रोत्साहन राशि भी दी जाएगी।


अचारपुरा में 416 करोड़ के निवेश से 6 इकाइयों का भूमि-पूजन

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने आज भोपाल के निकट अचारपुरा औद्योगिक क्षेत्र में ₹416 करोड़ के निवेश वाली 6 नवीन औद्योगिक इकाइयों के भूमि-पूजन समारोह को संबोधित किया।
उन्होंने साथ ही अचारपुरा औद्योगिक क्षेत्र एक्सटेंशन फेज-3 (ग्राम हज्जामपुर) का 31.21 हेक्टेयर क्षेत्र में शिलान्यास भी किया।


“हर पीढ़ी के उद्यमी अचारपुरा में सक्रिय”

मुख्यमंत्री ने कहा कि अचारपुरा अब एक विशेष औद्योगिक केंद्र के रूप में उभरा है। उन्होंने गोकुलदास एक्सपोर्ट्स के श्री प्रभात सिंह, सिनाई हेल्थकेयर के श्री आदित्य शर्मा और एसेड्स प्राइवेट लिमिटेड के श्री रौनक चौधरी की उपस्थिति का जिक्र किया और कहा कि यहाँ उद्योगों की वर्षा हो रही है


“मध्यप्रदेश की फैक्ट्रियाँ बना रहीं अंतरराष्ट्रीय जैकेट्स”

डॉ. यादव ने बताया कि अचारपुरा की फैक्ट्रियों में बनाए गए उत्पाद अमेरिका सहित अन्य देशों में निर्यात किए जा रहे हैं।
मध्यप्रदेश की कपास की गुणवत्ता विश्व प्रसिद्ध है और चीन जैसे देश भी हमारे कॉटन को बेच रहे हैं।

“मेहनत के मंदिर हमारे कारखाने हैं – ये सभी की तकलीफें दूर करते हैं।” — डॉ. यादव


रोड शो और अंतरराष्ट्रीय निवेश

मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य सरकार ने भारत और विदेशों — जैसे कि UK, दुबई, स्पेन, जर्मनी, जापान — में रोड शो आयोजित कर निवेश आकर्षित किया है।
हर उम्र और वर्ग के लिए उद्योगों के द्वार खुले हैं


आर्थिक प्रगति के आंकड़े

  • 2014 में भारत की वैश्विक अर्थव्यवस्था में रैंकिंग 15वीं थी, अब तीसरे स्थान की ओर बढ़ रहा है
  • मध्यप्रदेश की प्रति व्यक्ति आय:
    • 20 वर्ष पूर्व: ₹11,000
    • अब: ₹1,52,000
  • सिंचाई रकबा:
    • अब 55 लाख हेक्टेयर
    • लक्ष्य: 100 लाख हेक्टेयर

लाड़ली बहनों को मिलेगा शगुन और बढ़ती सहायता राशि

मुख्यमंत्री ने कहा कि:

  • दीपावली के बाद सभी पात्र लाड़ली बहनों को ₹1,500 मासिक सहायता मिलेगी
  • सावन के महीने में शगुन राशि भी दी जाएगी
  • साल दर साल राशि बढ़ाई जाएगी
  • वर्ष 2028 तक इसे ₹3,000 प्रति माह तक ले जाया जाएगा
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