धनतेरस पर खरीदारी का रिकॉर्ड तोड़ा: 1 लाख करोड़ का कारोबार, 60 हजार करोड़ का सोना-चांदी बिका; मारुति ने बेचीं 50 हजार से ज्यादा कारें
पिछले साल से 25% ज्यादा बिक्री, त्योहारी उत्साह से बाजार चमके; जानें सोना-चांदी, वाहन और अन्य सेक्टरों की पूरी डिटेल
धनतेरस के शुभ अवसर पर देशभर में खरीदारी का सिलसिला रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया। कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) के अनुसार, इस बार धनतेरस पर कुल 1 लाख करोड़ रुपये का कारोबार हुआ, जो पिछले साल से 25% अधिक है। इसमें सोना-चांदी की बिक्री ने सबसे ज्यादा योगदान दिया, जो 60 हजार करोड़ रुपये तक पहुंच गई। दिल्ली में ही 10 हजार करोड़ का सोना-चांदी बिका। इसके अलावा, ऑटो सेक्टर में भी धमाल मचा, जहां मारुति सुजुकी ने 50 हजार से ज्यादा कारें बेचकर सबसे आगे रही। यह उत्साह त्योहारी परंपरा, आर्थिक मजबूती और आकर्षक ऑफर्स का नतीजा है, जो दिवाली तक जारी रहने की उम्मीद है।
सोना-चांदी बाजार: महंगाई के बावजूद रिकॉर्ड बिक्री
सोने-चांदी की कीमतों में भारी उछाल के बावजूद ग्राहकों का जोश कम नहीं हुआ। सोने की कीमतें 1.34 लाख रुपये प्रति 10 ग्राम तक पहुंच गईं, जो पिछले साल से 65% महंगी हैं, फिर भी देशभर में 36 टन सोना और 1,000 टन चांदी बिकी। CAIT के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीण खंडेलवाल ने बताया कि सोना-चांदी का कुल कारोबार 60 हजार करोड़ रुपये रहा, जो पिछले साल से 25% ज्यादा है। ज्वैलर्स एसोसिएशन के अनुसार, सिक्कों और बार की बिक्री में 25-30% की बढ़ोतरी हुई, जबकि गहनों की मात्रा में 10% कमी आई लेकिन मूल्य में उछाल आया।
दिल्ली के सराफा बाजारों में 10 हजार करोड़ की बिक्री दर्ज की गई, जहां ग्राहक हल्के आभूषणों और निवेश उत्पादों की ओर रुख कर रहे हैं। AIJGF के अध्यक्ष पंकज अरोड़ा ने कहा, “कीमतों के बावजूद परंपरा निभाई गई, जिससे बाजार चमक उठा।” चांदी की कीमतें 1.8 लाख रुपये प्रति किलोग्राम पहुंचीं, लेकिन औद्योगिक मांग और त्योहारी खरीद से बिक्री मजबूत रही।
ऑटो सेक्टर: मारुति ने लगाई डबल सेंचुरी
धनतेरस पर वाहन खरीदारी भी शानदार रही। मारुति सुजुकी ने 50 हजार से ज्यादा कारें बेचकर बाजार पर कब्जा जमाया, जो पिछले साल के 41,500 यूनिट से काफी आगे है। कंपनी के अधिकारियों ने बताया कि नवरात्रि से अब तक औसतन 14 हजार बुकिंग्स प्रतिदिन हुईं, और शनिवार को शाम 6 बजे तक 38,500 डिलीवरी हो चुकी थीं। हुंडई ने 20% की बढ़ोतरी के साथ मजबूत प्रदर्शन किया।
मारुति के मॉडल्स जैसे स्विफ्ट, डिजायर और वैगनआर सबसे ज्यादा बिके, जहां ऑफर्स में 1 लाख रुपये तक की छूट दी गई। CAIT के आंकड़ों के मुताबिक, वाहनों पर कुल 12 हजार करोड़ का खर्च हुआ। विशेषज्ञों का कहना है कि जीएसटी राहत और स्क्रैपेज पॉलिसी से ग्राहकों का भरोसा बढ़ा।
अन्य सेक्टरों में भी धन वर्षा
सोना-चांदी और वाहनों के अलावा अन्य सेक्टरों में भी खरीदारी जोरों पर रही। बर्तन और रसोई सामग्री पर 15 हजार करोड़, इलेक्ट्रॉनिक्स और इलेक्ट्रिकल गुड्स पर 10 हजार करोड़, सजावट-पूजा सामग्री पर 3 हजार करोड़ का कारोबार हुआ। ड्राई फ्रूट, मिठाई और वस्त्रों की बिक्री भी बढ़ी। कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनियों जैसे पैनासोनिक और हैयर ने बताया कि प्रीमियम टीवी और अप्लायंसेज की मांग 20% ऊपर रही।
| सेक्टर | अनुमानित बिक्री (करोड़ रुपये) | पिछले साल से वृद्धि (%) |
|---|---|---|
| सोना-चांदी | 60,000 | 25 |
| वाहन | 12,000 | 20 |
| बर्तन-रसोई | 15,000 | 15 |
| इलेक्ट्रॉनिक्स | 10,000 | 18 |
| सजावट-पूजा | 3,000 | 10 |
आंकड़े: CAIT और AIJGF के अनुमान से।
निष्कर्ष
धनतेरस पर 1 लाख करोड़ का कारोबार भारतीय अर्थव्यवस्था की मजबूती और उपभोक्ता विश्वास को दर्शाता है। सोना-चांदी की रिकॉर्ड बिक्री और मारुति की कारों की धमाकेदार सेल से बाजारों में रौनक रही। यह उत्साह दिवाली तक जारी रहने से जीएसटी कलेक्शन और रोजगार सृजन को बढ़ावा मिलेगा। हालांकि, महंगाई के बीच ग्राहकों ने स्मार्ट खरीदारी की, जो सकारात्मक संकेत है। अगले त्योहारों में भी ऐसे ही जोश की उम्मीद है।